भोपाल ।   मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव प्रचार के लिए सभाएं लेने के मामले में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान अव्वल रहे। 230 विधानसभा क्षेत्रों में शिवराज 165 सीटों पर पहुंचे और वहां सभाएं ली। दूसरे नंबर पर केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया रहे। उन्होंने करीब 80 सभाएं लीं। अन्य भाजपा नेताओं ने भी चुनाव प्रचार में पूरी ताकत लगाई। भाजपा इस चुनाव को लोकसभा चुनाव के सेमीफाइनल की तर्ज पर लड़ रही है।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आचार संहिता लगने से पहले भी 11 बार मध्य प्रदेश का दौरा किया था। बाद में सात दिनों में 14 सभाएं और एक रोड शो इंदौर में किया। बता दें, कि 17 नवंबर को होने वाले मतदान के लिए प्रचार बुधवार शाम छह बजे थम गया। इसी तरह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी चार दिन मध्य प्रदेश में प्रचार किया।

केंद्रीय मंत्रियों के दौरे

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भी मध्य प्रदेश में कई जिलों में प्रचार की कमान संभाली। भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, नितिन गडकरी, अनुराग ठाकुर, निर्मला सीतारमण, स्मृति ईरानी, भूपेंद्र यादव, अश्विनी वैष्णव सहित कई अन्य केंद्रीय मंत्रियों ने अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों में भाजपा प्रत्याशियों के पक्ष में सभा की।

ये रहा मुद्दा

मोदी का गरीब कल्याण और मामा की लाड़ली बहना योजना की सर्वाधिक चर्चा मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी गरीब कल्याण को मुद्दा बनाने में सफल रहे तो मुख्यमंत्री शिवराज सिंह की लाड़ली बहना और लाड़ली आवास योजना चर्चा में रही। पीएम मोदी अपनी सभाओं के माध्यम से गरीब कल्याण के मुद्दे पर कांग्रेस को घेरने में सफल रहे।

पीएम मोदी की सर्वाधिक पसंद की गई मुफ्त राशन योजना 'प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना ' को अगले पांच साल तक आगे बढ़ाने की घोषणा पर कांग्रेस ने चुनाव आयोग से शिकायत की कि प्रधानमंत्री चुनाव आचार संहिता का उल्लंघन कर रहे हैं। इसी को आधार बनाकर पीएम मोदी ने कांग्रेस पर गरीब विरोधी होने का आरोप लगाया। कांग्रेस इसका कोई जवाब भी नहीं दे पाई।

भाजपा नेताओं की सभाओं की संख्या

नरेन्द्र मोदी, प्रधानमंत्री - 14 सभाएं और एक रोड शो
अमित शाह, केंद्रीय गृह मंत्री - 21
जेपी नड्डा, राष्ट्रीय अध्यक्ष, भाजपा - 14
राजनाथ सिंह, रक्षा मंत्री - 12
नितिन गडकरी, केंद्रीय मंत्री - तीन
निर्मला सीतारमण, केंद्रीय मंत्री- दो
स्मृति ईरानी, केंद्रीय मंत्री - आठ
देवेंद्र फडणवीस, उप मुख्यमंत्री, महाराष्ट्र- चार
शिवराज सिंह चौहान, मुख्यमंत्री, मध्य प्रदेश- 165
विष्णु दत्त शर्मा, प्रदेशाध्यक्ष, मप्र भाजपा - 55
नरेंद्र सिंह तोमर, केंद्रीय मंत्री - 38
भूपेंद्र यादव, केंद्रीय मंत्री - सात
ज्योतिरादित्य सिंधिया, केंद्रीय मंत्री- 80
अश्विनी वैष्णव, रेल मंत्री - सात
योगी आदित्य नाथ, मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश- 16
प्रमोद सावंत, मुख्यमंत्री, गोवा- सात
प्रहलाद पटेल, केंद्रीय मंत्री - 40
फग्गन सिंह कुलस्ते, केंद्रीय मंत्री - 18
अनुराग ठाकुर, केंद्रीय मंत्री - 12
अर्जुन मुंडा, केंद्रीय मंत्री - छह
वीरेंद्र खटीक, केंद्रीय मंत्री- 10
पीयूष गोयल, केंद्रीय मंत्री-चार
मीनाक्षी लेखी, केंद्रीय मंत्री- चार
साध्वी निरंजन ज्योति, केंद्रीय मंत्री-आठ
पीयूष गोयल, केंद्रीय मंत्री-तीन
राजीव चंद्रशेखर, केंद्रीय मंत्री- चार
हेमंत बिस्वा सरमा, मुख्यमंत्री, असम- 24
ब्रजेश पाठक, उप मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश-छह
केशव प्रसाद मौर्य, उप मुख्यमंत्री, उत्तर प्रदेश-सात
भूपेंद्र पटेल, मुख्यमंत्री, गुजरात-13
कैलाश विजयवर्गीय, राष्ट्रीय महासचिव, भाजपा- 25
पुष्कर सिंह धामी, मुख्यमंत्री, उत्तराखंड- 12

कमल नाथ-दिग्विजय के सभाओं का शतक

इधर, कमल नाथ-दिग्विजय सिंह ने भी पूरा किया सभाओं का शतक कांग्रेस में चुनाव प्रचार का मोर्चा प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमल नाथ और दिग्विजय सिंह ने संभाला। दोनों सौ से अधिक विधानसभा क्षेत्रों में पहुंचे। कमल नाथ ने 114 सभाएं और रोड शो किए तो पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह 125 विधानसभा क्षेत्रों की सभाओं में पहुंचे। उन्होंने सभा कम और कार्यकर्ता सम्मेलन अधिक किए। पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने आठ सभाओं और एक नुक्कड़ सभा को संबोधित किया। पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने दो रोड शो, आठ सभाएं और एक नुक्कड़ सभा की। राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने आठ सभाएं और एक रोड शो किया।