गाजियाबाद । स्पोर्ट्स फैंटेसी ऐप पर क्रिकेट, फुटबॉल और हॉकी मैचों पर कुछ रुपये लगाकर ज्यादा मुनाफा कमाने का झांसा देकर ठगी जारी है। कई कंपनियों के बीच जालसाज भी अपना ऐप बनाकर लोगों को चपत लगा रहे हैं। पिछले एक महीने में साइबर थाने में ऐसे कई मामले पहुंचे हैं। एडीसीपी क्राइम सच्चिदानंद ने बताया की टीम इन मामलों की जांच कर रही है। जिस ऐप से ठगी की गई उसके बारे में पता किया जा रहा है। साथ ही जिन अकाउंट में रुपये गए हैं बैंक से उनके बारे में भी डिटेल ली जा रही है। 
अंकुर विहार में रहने वाले गणेश नाम के युवक ने पुलिस को दी शिकायत में बताया है कि सोशल मीडिया पर एक लिंक पर क्लिक के बाद एक व्यक्ति ने उन्हें कॉल किया। उसने बताया कि वह मुंबई की कंपनी से बात कर रहा है और वह बेस्ट फैंटेसी टीम बनाकर देगा। पहले उनसे एनरोल करने के नाम 349 रुपये लिए। इसके बाद गुजरात और चेन्नै के मैच की बेस्ट टीम बनाकर देने की 1799 रुपये फीस ली गई। उसने उन्हें टीम बनाकर दे दी। पीड़ित के अनुसार मैच के खत्म होने के बाद उन्हें कॉल आई और एक स्क्रीनशॉट को चेक करने के लिए कहा गया। जिसमें उनके 10 लाख रुपये जीतने की बात कही गई थी। बाद में उन्हें बताया गया कि उनकी टीम तीसरे नंबर पर है। अब इन रुपयों को निकालने के लिए उन्हें कुछ और फीस जमा करने के लिए कहा गया। उन्होंने फीस के लिए 18 हजार रुपये भी ट्रांसफर कर दिए लेकिन उन्हें न ये रुपये मिले और न ही वॉलेट में 10 लाख रुपये दिख रहे। ठगी का अहसास होने पर उन्होंने पुलिस से शिकायत की।
फैंटेसी लीग में लोगों को अपनी एक वर्चुअल टीम बनानी होती है। इसमें मैच में दोनों टीम से खेल रहे खिलाड़ियों को मिलाकर 11 प्लेयर चुनने होते हैं। लाइव मैच में प्लेयर्स के प्रदर्शन के आधार पर पॉइंट का निर्धारण होता है और फिर सबसे रैंकिंग के हिसाब से इनाम का वितरण होता है। इस तरह के ऐप पर कई लोग 50 रुपये लगाकर लाखों, करोड़ों रुपये जीत चुके हैं। इसलिए ज्यादा से ज्यादा लोग इसे खेलते हैं। इसका फायदा उठाते हुए जालसाज इसी तरह का अपना ऐप बनाकर सोशल मीडिया पर इसका लिंक शेयर करते हैं। इसके बाद वह कॉल कर लोगों को ऐसी टीम बनाकर देने का झांसा देते हैं जिससे उन्हें लाखों रुपये की कमाई पक्की होगी। शुरू में कुछ प्रॉफिट दिया जाता है और फिर बाद में धीरे-धीरे करके उनसे ठगी की जाती है।